Saturday, May 15, 2010

तू है...

मेरी ख़ुशी की वजह तू है, मेरी रात और मेरी सुबह तू है.
रब से और क्या मांगू  मैं, आज मेरी हर रज़ा भी तू है.
तेरे आँगन में खुशियाँ बिखेरूं, हंसीं तेरे लब पर सजा दूं
इस कठिन राह पर चला जा रहा, पर मेरी मंजिल भी तू है.

मेरे दिल में जब जब, तेरी तस्वीर बन के आती है,
तू माने या न माने, मेरी धड़कन रुक सी जाती है
तेरे मीठे बोल मेरी हर रग में बस गए हैं.
तू मेरी ज़रूरत, और मेरी इबादत भी तू है.

तूने इतना तो जाना होगा, मेरे दिल में है मोहब्बत कितनी,
और कितनी दूरी पड़ी है, अब साथ चलना हमने है.
तेरे हर कदम की आहट से, हर दम भरना हमनें है.
तू मेरी उम्मीद है, और मेरी हमसफ़र भी तू है.
A Promise to Remember

Monday, May 10, 2010

तेरा साथ होना मेरे जीने का कारण है.

तुझे चाहने की वजह जाने क्या है ?
सोचता हूँ कभी मेरी मंजिल क्या है ?
मेरा जीना तेरे साथ होने का कारण है,
या फिर तेरा साथ होना मेरे जीने का कारण है.

तू सामने नहीं फिर क्यों दिल खामोश है?
धड़कन है थमी और सांसें भी मदहोश हैं.
निगाहों की कशमकश हर वक़्त होती है.
तेरा साथ न होना भी इस दिल्लगी का कारण है.

मेरी ज़िन्दगी में तेरा आना संयोग तो नहीं.
साजिश ये खुदा की है, मेरा इस में दोष नहीं.
अब तेरे साथ के अलावा, कोई और मैं चाहूँ नहीं.
तेरा खाबों में आना भी मेरी दीवानगी का कारण है.

पहले भी बहुत बार ये दिल धड़का था.
सपनो में मेरे कोई चेहरा चमका था.
तेरे चेहरे की चमक के आगे सब फीका पड़ गया.
तेरी मीठी आवाज़ भी मेरी बेहोशी का कारण है.

ज़माने के रंगों में रंग देखे कई हमने.
साथ जीने साथ मरने के वादे किये हमने.
तेरा हाथ थामा, और कदम आगे बढ़ रहे हैं.
तेरा साथ होना ही मेरे जीने का कारण है.